इत्तिबा-ए-सुन्नत और तक़लीद से संबंधित एक बात-चीत
 इत्तिबा-ए-सुन्नत और तक़लीद से संबंधित यह एक बात-चीत है जो एक शांतिपूर्ण वातावरण में अब्दुल्लाह और अहमद नामी दो व्यक्तियों के बीच हुई है। जिस में यह स्पष्ट किया गया है कि रसूल सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम की सुन्नत का इत्तिबा करना ही असल दीन है, तथा तक़लीद का खण्डन किया गया है और उस से उपेक्षा करने पर बल दिया गया है। حوار هادئ حول الاتباع والتقليد جرى بين شخصين، عبد الله وأحمد: تناول الحوار الحديث عن وجوب اتباع سنة النبي - صلى الله عليه وسلم 
अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह

इत्तिबा-ए-सुन्नत और तक़लीद से संबंधित एक बात-चीत

इत्तिबा-ए-सुन्नत और तक़लीद से संबंधित यह एक बात-चीत है जो एक शांतिपूर्ण वातावरण में अब्दुल्लाह और अहमद नामी दो व्यक्तियों के बीच हुई है। जिस में यह स्पष्ट किया गया है कि रसूल सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम की सुन्नत का इत्तिबा करना ही असल दीन है, तथा तक़लीद का खण्डन किया गया है और उस से उपेक्षा करने पर बल दिया गया है। حوار هادئ حول الاتباع والتقليد جرى بين شخصين، عبد الله وأحمد: تناول الحوار الحديث عن وجوب اتباع سنة النبي - صلى الله عليه وسلم